भारतीय संविधान के महत्वपूर्ण अनुच्छेद विषय आगामी परीक्षाओं के लिए छात्रों के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण हैं। यह अनुच्छेद छात्रों को संविधान के मौलिक तत्वों, नागरिक अधिकारों और कर्तव्यों के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी प्रदान करते हैं, जो परीक्षाओं में अधिक अंक प्राप्त करने में मदद करती हैं।
भारत के संविधान में वर्तमान समय में 477 अनुच्छेद, 25 भाग और 12 अनुसूचियां हैं जबकि मूल संविधान में 395 अनुच्छेद, 22 भाग और 8 अनुसूचियां थी| भारत का संविधान 29 नवम्बर 1949 को बनकर तैयार हुआ था जिसको 26 जनवरी 1950 से पूरे देश में लागू किया गया था|
भारतीय संविधान में कितने अनुच्छेद हैं – मूल अनुच्छेद/धाराओं की संख्या संविधान में आज भी इतनी ही है । उदाहरण के लिए, केंद्र सरकार ने जब स्वर्ण सिंह समिति की सिफारिशों को स्वीकार करते हुए 42वें संविधान संशोधन अधिनियम, 1976 को लागू किया, तब संविधान के अनुच्छेद -51 में एक नया अनुच्छेद 51 (क) जोड़ा गया और 10 मूल कर्तव्य संविधान में स्थापित किये गये ।
इसी प्रकार मूलतः संविधान में 22 भाग व 8 अनुसूचियां (schedules) थीं । आज यह संख्या क्रमश: 25 व 12 है ।
भारतीय संविधान के महत्वपूर्ण अनुच्छेद
- अनुच्छेद 1: – संघ का नाम और राज्य क्षेत्र
- अनुच्छेद 3:- नए राज्यों का निर्माण और वर्तमान राज्यों के क्षेत्रों, सीमाओं या मौजूदा राज्यों के नामों में परिवर्तन
- अनुच्छेद13:– मौलिक अधिकारों को असंगत या उनका अल्पीकरण करने वाली विधियों के बारे में
- अनुच्छेद 14:- कानून के समक्ष समानता
- अनुच्छेद 16:- सरकारी नौकरियों में सभी को अवसर की समानता
- अनुच्छेद 17:- अस्पृश्यता का उन्मूलन
- अनुच्छेद 19:- “अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता” के बारे में कुछ अधिकारों का संरक्षण
- अनुच्छेद 21:- प्राण और दैहिक स्वतंत्रता का संरक्षण
- अनुच्छेद 21A:- प्राथमिक शिक्षा का अधिकार
- अनुच्छेद 25:- अंतरात्मा की स्वतंत्रता, मनचाहा काम और धर्म के प्रचार-प्रसार की स्वतंत्रता
- अनुच्छेद 30:- अल्पसंख्यकों को शैक्षिक संस्थानों को स्थापित करने, उनका प्रशासन करने का अधिकार
- अनुच्छेद 31C: – कुछ निर्देशक सिद्धांतों को प्रभावी करने वाली विधियों की व्याख्या
- अनुच्छेद 32:- मौलिक अधिकारों को लागू के लिए “रिट” सहित अन्य उपचार
- अनुच्छेद 38:- राज्य, लोगों के कल्याण को बढ़ावा देने के लिए एक सामाजिक व्यवस्था को बनाएगा
- अनुच्छेद 40:- ग्राम पंचायतों का संगठन
- अनुच्छेद 44:- नागरिकों के लिए एक समान नागरिक संहिता
- अनुच्छेद 45:- 6 साल से कम उम्र के बच्चों के लिए अनिवार्य शिक्षा का प्रावधान
- अनुच्छेद 46:- अनुसूचित जातियों, अनुसूचित जनजातिओं और अन्य कमजोर वर्गों के शैक्षिक और आर्थिक हितों को बढ़ावा
- अनुच्छेद 50:- कार्यपालिका से न्यायपालिका को अलग किया जाना
- अनुच्छेद 51:- अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा को बढ़ावा देना
- अनुच्छेद 51A: – मौलिक कर्तव्य
- अनुच्छेद 72:- राष्ट्रपति की शक्तियों जैसे:- क्षमा देना, सजा का निलंबन, कुछ मामलों में सजा को कम करना आदि का प्रावधान
- अनुच्छेद 74:- राष्ट्रपति को सहायता और सलाह देने के लिए मंत्रिपरिषद
- अनुच्छेद 76:- भारत के महान्यायवादी
- अनुच्छेद 78:- राष्ट्रपति को जानकारी देने आदि के लिए प्रधानमंत्री के कर्तव्य
- अनुच्छेद 110:- धन विधेयकों की परिभाषा
- अनुच्छेद 112:- वार्षिक वित्तीय विवरण (बजट)
- अनुच्छेद 123:- संसद के मध्यावकाश के दौरान राष्ट्रपति की अध्यादेश प्रख्यापित करने शक्ति
- अनुच्छेद 143:- सुप्रीम कोर्ट से परामर्श करने की राष्ट्रपति की शक्ति
- अनुच्छेद 148:- भारत के नियंत्रक और महालेखा परीक्षक
- अनुच्छेद 149:- भारत के नियंत्रक और महालेखा परीक्षक की शक्तियां
- अनुच्छेद 155:- राज्यपाल की नियुक्ति
- अनुच्छेद 1अनुच्छेद 172:- 61:- क्षमा को कम करने, टालने और निलंबित करने की राज्यपाल की शक्ति
- अनुच्छेद 163:- राज्यपाल की सहायता और सलाह के लिए मंत्रिपरिषद
- अनुच्छेद 165:- राज्य के महाधिवक्ता
- अनुच्छेद 167:- राज्यपाल को जानकारी देने के लिए मुख्यमंत्री के कर्तव्य
- अनुच्छेद 168:- राज्यों में विधानमंडलों की व्यवस्था
- अनुच्छेद 169:- राज्यों में विधान परिषदों की रचना या उन्मूलन
- अनुच्छेद 170:- राज्यों में विधान सभाओं की संरचना
- अनुच्छेद 171:- राज्यों में विधान परिषदों की संरचना
- अनुच्छेद 172:-राज्य विधानमंडलों की अवधि
- अनुच्छेद 173:- राज्य विधानमंडल की सदस्यता के लिए योग्यता
- अनुच्छेद 174:- राज्य विधायिका का सत्र, सत्रावसान और राज्य विधायिका का विघटन
- अनुच्छेद 178:- विधान सभा के स्पीकर और डिप्टी स्पीकर
- अनुच्छेद 194:- महाधिवक्ता की शक्तियां, विशेषाधिकार और प्रतिरोधक क्षमता (Immunity)
- अनुच्छेद 200:- राज्यपाल द्वारा बिल को स्वीकृति
- अनुच्छेद 202:- राज्य विधानमंडल का वार्षिक वित्तीय विवरण (राज्य बजट)
- अनुच्छेद 210:- राज्य विधानमंडल में इस्तेमाल की जाने वाली भाषा
- अनुच्छेद 212:- न्यायालयों को राज्य विधानमंडल की कार्यवाही के बारे में पूछताछ करने का अधिकार नहीं
- अनुच्छेद 213:- राज्य विधानमंडल के अवकाश में राज्यपाल द्वारा अध्यादेश प्रख्यापित करने की शक्ति
- अनुच्छेद 214:- राज्यों के लिए उच्च न्यायालयों की व्यवस्था
- अनुच्छेद 217:- उच्च न्यायालय के न्यायाधीश की नियुक्ति की शर्तें
- अनुच्छेद 226:- उच्च न्यायालयों की रिट जारी करने की शक्ति
- अनुच्छेद 239AA: – दिल्ली के संबंध में विशेष उपबंध
- अनुच्छेद 243B: – पंचायतों का गठन
- अनुच्छेद 243C: – पंचायतों की संरचना
- अनुच्छेद 243G: – पंचायतों की जिम्मेदारियां, शक्तियां और अधिकार
- अनुच्छेद 243K: – पंचायतों के चुनाव
- अनुच्छेद 249:- राज्य सूची के विषय के सम्बन्ध में राष्ट्रीय हित में कानून बनाने की संसद की शक्ति
- अनुच्छेद 262:- अंतर-राज्यीय नदियों या नदी घाटियों के बारे में पानी से संबंधित विवादों का अधिनिर्णय
- अनुच्छेद 263:- अंतर-राज्यीय परिषद् के सम्बन्ध में प्रबंध
- अनुच्छेद 265:- कानून के प्राधिकार के बिना करों का अधिरोपण न किया जाना
- अनुच्छेद 275:- कुछ राज्यों को संघ से अनुदान
- अनुच्छेद 280:- वित्त आयोग की स्थापना
- अनुच्छेद 300:- वाद और कार्यवाहियां
- अनुच्छेद 300A: – विधि के प्राधिकार के बिना व्यक्तियों को संपत्ति से वंचित न किया जाना (संपत्ति का अधिकार)
- अनुच्छेद 311:- संघ या किसी राज्य के अधीन सिविल क्षमताओं में कार्यरत व्यक्तियों के रैंक में कमी बर्खास्तगी।
- अनुच्छेद 312:- अखिल भारतीय सेवाएँ
- अनुच्छेद 315:- संघ और राज्यों के लिए लोक सेवा आयोग की स्थापना
- अनुच्छेद 320:- लोक सेवा आयोगों के कार्य
- अनुच्छेद 323-A: – प्रशासनिक न्यायाधिकरण
- अनुच्छेद 324:- निर्वाचनों के अधीक्षण, निर्देशन और नियंत्रण का निर्वाचन आयोग में निहित किया जाना
- अनुच्छेद 330:- लोकसभा में अनुसूचित जातियों और अनुसूचित जनजातियों के लिए सीटों का आरक्षण
- अनुच्छेद 335:- सेवाओं और पदों के लिए अनुसूचित जातियों और अनुसूचित जनजातियों के दावे
- अनुच्छेद 352:- आपात की उद्घोषणा (राष्ट्रीय आपात)
- अनुच्छेद 356:- राज्य में संवैधानिक मशीनरी की विफलता के मामले में प्रावधान (राष्ट्रपति शासन)
- अनुच्छेद 360:- वित्तीय आपातकाल के बारे में उपबंध
- अनुच्छेद 365:- संघ द्वारा दिए गए निर्देशों का पालन करने में या उनको प्रभावी करने में असफलता का प्रभाव (राष्ट्रपति शासन)
- अनुच्छेद 368:- संविधान में संशोधन करने की संसद की शक्ति और इसकी प्रक्रिया
- अनुच्छेद 370:- जम्मू- कश्मीर राज्य के संबंध में अस्थायी प्रावधान